मुलेठी के बारे में तो सभी जानते हैं .आज से ये भी जान लीजिये कि पेप्टिक अल्सर में मुलेठी का चूर्ण अमृत की तरह काम करता है. बस सुबह शाम 2 -2 ग्राम पानी से निगल जाइए
यही नहीं इस मुलेठी के चूर्ण से आँखों की शक्ति भी बढ़ती है बस सुबह ३ ग्राम खा लीजिये.
अब इस मुलेठी की जन्म कुण्डली अगले किसी अंक में ................
चित्र गूगल बाबा की मदद से
इन आलेखों में पूर्व विद्वानों द्वारा बताये गये ज्ञान को समेट कर आपके समक्ष सरल भाषा में प्रस्तुत करने का छोटा सा प्रयत्न मात्र है .औषध प्रयोग से पूर्व किसी मान्यताप्राप्त हकीम या वैद्य से सलाह लेना आपके हित में उचित होगा
21 टिप्पणियां:
अच्छी जानकारी दी है...
शुक्रिया.
bahut acchee jankaree .
dhanyvad
जब होती थी सर्दी,आता था बुखार, मुलेठी का कांड़ा, बहुत पिलाती थी माँ बार-बार। एक और गुण का पता चला।
acchhi jankari ...janmkundli ka intajar rahega
बहुत सुंदर जानकारी , आप सब को नवरात्रो की शुभकामनायें,
अच्छी जानकारी । ये मुलेठी और मुलेहठी एक ही चीज है क्या ?
अभी तक तो मुलेठी गला ठीक करने के लिये उपयोग मे लाते थे।
अच्छी जानकारी ।
हम तो इसके मुरीद है ।
गला खराब होने पर माता जी ज़रूर चुस्वाति थीं मुलठी ... अच्छी पोस्ट ...
गला भी अच्छा करती है!
आभार!
आशीष
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प्रायश्चित
सुना था मुलेठी बहुत काम की चीज़ है आज आपने इसके लाभ भी बता दिए..एक से बढ़ कर एक बढ़िया जानकारी आपके ब्लॉग पर उपलब्ध है....स्वास्थ के बारे में लाभकारी है...बढ़िया जानकारी भारी आलेख के लिए बहुत बहुत धन्यवाद अलका जी..
आज इस ब्लॉग को फोल्लो कर लिया है और अब हम मुलेठी की जन्म कुंडली का इंतज़ार कर रहे हैं.
namaskar !
achchi zankari hai . deahi cheejo ka bas upyog karne wala chahiye . bhandaar hai .
thnks
शुक्रिया दीदी
अलका जी बहुत दिनों बाद आई हूँ आप के ब्लॉग पर । मुलैठी के बारे में सिर्फ खांसी के लिये उपयोग पता था, पर पेप्टिक अल्स और आँखों के लिये भी उपयोगी है ये आपने ही बताया । सचमुच आपका ब्लॉग खजाना है स्वास्थ्य के लिये ।
अलका जी बहुत दिनों बाद आई हूँ आप के ब्लॉग पर । मुलैठी के बारे में सिर्फ खांसी के लिये उपयोग पता था, पर पेप्टिक अल्स और आँखों के लिये भी उपयोगी है ये आपने ही बताया । सचमुच आपका ब्लॉग खजाना है स्वास्थ्य के लिये ।
शुभ दशहरा ।
इस पोस्ट के 11 दिन हो गए हैं। दूसरा भाग आना चाहिए।
कम्प्युटर खराब होने के कारण बहुत दिनों के बाद आ सका,सदा की भान्ति लाभप्रद पोस्ट
alka ji,aapke blog ke bare me amar ujala se pata laga.bahut achha laga aapka blog.nahi janti ki aapko ispar likhne me deri kyon hoti hai par aapki gyanverdhak upasthiti achhi lagti hai.
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